जामियत अल-शेख असद अल-मदनी में धूमधाम से मनाया गया वार्षिकोत्सव
जामियत अल-शेख असद अल-मदनी में धूमधाम से मनाया गया वार्षिकोत्सव
अजवद क़ासमी
जौनपुर:- शहर के मोहल्ला तारापुर तकिया में स्थित जामियत अल-शेख असद अल-मदनी का वार्षिकोत्सव जलसा ए दस्तार बंदी एवं इहया ए क़ुरआन कॉन्फ्रेंस के उनवान से आयोजन बड़ी धूमधाम से किया गया जिसमें जामिया के बच्चों ने नात,नज़्म,तक़रीर,दुआएं,एक्शन प्रोग्राम आदि प्रस्तुत करके सबका मन मोह लिया प्रोग्राम के मुख्य अतिथि डॉ.अज़हर जाफ़री प्रोफेसर मेडिकल कॉलेज जौनपुर रहे।
जामियत अल-शेख असद अल-मदनी के वार्षिकोत्सव कार्यक्रम की शुरुआत मदरसे के छात्र हाफ़िज़ शारिब ने तिलावत ए क़ुरआन से किया। इस अवसर पर जामिया से फ़ारिग़ होने वाले कुल सात छात्राओं को पगड़ी बांध कर उनको हिफ़्ज़ की सनद उपस्थित अतिथियों के हाथों दी गयी। मुख्य वक्ता मौलाना अब्दुल रशिद ने अपने बयान क़ुरआन की अहमियत पर प्रकाश डालते हुए कहा कि इस्लाम मज़हब के अनुयायियों को चाहिए कि वह अपने पैगंबर हज़रत मोहम्मद स.अ.व के बताए हुए मार्ग पर ही चलें तब ईश्वर की कृपा व हमदर्दी उनके ऊपर होगी हर उस बुराई से स्वयं को रोकें जिसके लिए अल्लाह और उसके रसूल और क़ुरआन मना करता है।
मुख्य अतिथि डॉ. अज़हर जाफ़री ने अपने संबोधन में जामिया के बच्चों व अध्यापकों की सराहना करते हुए कहा कि आजके समय में आधुनिक शिक्षा के साथ साथ अपने बच्चों को धार्मिक शिक्षा देना बहुत ही ज़रूरी है उन्होंने मदरसा का हर प्रकार से सहयोग की बात कही। मीडिया से बात करते हुए जामिया के प्रबंधक मौलाना वसीम अहमद शेरवानी ने कहा कि मदरसे की शिक्षा आज हाईटेक होती जा रही है। यहां पर अब दीनी व दुनियावी दोनों तालीम बच्चों को दी जा रही है। इसको हासिल करके यहां के विद्यार्थी क़ौम व समाज के लोगों की सेवा करेंगे उन्होंने जोर देते हुए कहा कि अभिभावक अपने बच्चों को बेहतर शिक्षा दिलाने के लिए गंभीर रहें। शिक्षा के ज़रिए ही तरक्की और कामयाबी हासिल किया जा सकता है।
कार्यक्रम में मुख्य रूप से मौलाना ख़ालिद आज़मी, मौलाना वसीम क़ासमी,मौलाना राशिद,हाजी अशरफ़ शेरवानी,मुफ़्ती वकार ने भी अपने-अपने वक्तव्य दिए संचालन मौलाना साजिद ने किया।
इस अवसर पर क़ारी महमूद आलम बलियावी,डॉ. शकील अहमद,अकील सिद्दीक़ी,शकील सिद्दीक़ी,शम्स तबरेज़,अनवारुल हक़ गुड्डू,अबुज़र शेख़,शाहनवाज़ मंज़ूर,बेलाल अहमद,मोहम्मद इमरान,मौलाना सलमान क़ासमी,मौलाना अब्दुल हई,हाफ़िज़ रिज़वान मानवी,मौलाना सालिम,अकरम मंसूरी,मौलाना जावेद,हाजी अशफ़ाक़,मोहम्मद परवेज़ राईन,फैज़ान राईन आदि उपस्थित रहे।