September 19, 2024

जिले के 331 हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर 15 मई से चलेगा विशेष अभियान

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जौनपुर
सीएचओ निभाएंगे अहम भूमिका, उपचार के साथ मनो सामाजिक सहयोग भी मिलेगा
टीबी संभावित क्षेत्रों का चयन एवं माइक्रोप्लानिंग का कार्य अंतिम चरण में
जौनपुर, 08 मई 2023 । जनपद के दूर-दराज के क्षेत्रों व गाँव में मौजूद आयुष्मान भारत–हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर को राष्ट्रीय क्षय उन्मूलन अभियान (एनटीईपी) के लिए सुदृढ़ीकरण किया जा रहा है जिससे टीबी मुक्त गांव बनाया जा सके। हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर के माध्यम से क्षयरोगियों को खोजने और उपचार करने का प्रयास हो रहा है।
जिला क्षय रोग अधिकारी (डीटीओ) डॉ राकेश कुमार सिंह ने बताया कि हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर टीबी सेवाओं को सुदृढ़ करने के लिए 15 मई से 07 जून तक विशेष अभियान चलेगा। यह अभियान 21 दिन चलेगा। अभियान का उद्देश्य वर्ष 2025 तक क्षय उन्मूलन के लिए हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर क्षयरोगियों के चिन्हीकरण, जांच, सम्पूर्ण उपचार, नियमित दवा सेवन (एडहरेंस), निक्षय पोषण योजना में डायरेक्ट बेनिफिसियरी ट्रांसफर (डीबीटी), परामर्श एवं मनो सामाजिक सहयोग पर और अधिक ज़ोर देना है। उन्होंने बताया कि जनपद में वर्तमान में 331 हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर क्रियाशील हैं जिनमें से 219 केंद्रों पर पहले से ही टीबी की सेवाएं शुरू की जा चुकी हैं। नवनिर्मित 112 हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर के सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारी (सीएचओ) को भी टीबी कार्यक्रम के लिए प्रशिक्षित किया जा चुका है। टीबी संबंधी सभी सेवाओं को सेंटर स्तर पर विकेंद्रीकृत कर दिया गया है।
गांवों को क्षयमुक्त बनाने में मिलेगा सहयोग: डीटीओ ने बताया कि विशेष अभियान में प्रत्येक सप्ताह हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर उच्च प्राथमिकता वाले क्षेत्रों जैसे दूरस्थ क्षेत्र, घनी आबादी, मलिन बस्ती, टीबी रोगियों की ज्यादा संख्या वाले गांव, पर हेल्थ कैम्प लगेगा। कैम्प से पहले सीएचओ, एनटीईपी स्टाफ, एएनएम और आशा कार्यकर्ताओं के माध्यम से उच्च प्राथमिकता वाले क्षेत्रों में ग्राम प्रधान की अध्यक्षता में विलेज हेल्थ सैनेटाइजेशन एंड न्यूट्रीशन कमेटी (वीएचएसएनसी) की बैठकें होंगी। आशा कार्यकर्ता क्षेत्र में भ्रमण कर टीबी मरीजों के गृह सम्पर्कियों एवं टीबी संभावित लक्षणों वाले मरीजों की सूची बनाएँगी। क्षेत्र में लगने वाले हेल्थ कैम्प में चिन्हित संभावित मरीजों को लाकर उनके बलगम का सैम्पल नजदीकी माइक्रोस्कोपी/ट्रूनाट/सीबीनेट केंद्रों पर स्पुटम ट्रांसपोर्टर के माध्यम से भेजा जाएगा। ऐसे सभी मरीजों की डायबिटीज/एचआईवी जांचें हेल्थ एंड वेलनेस केंद्रों पर ही की जाएंगी। क्षयरोगी जो इलाज बीच में ही छोड़ चुके हैं, उनकी सूची एनटीईपी स्टाफ अभियान से पूर्व तैयार कर संबंधित सीएचओ को उपलब्ध कराएगा जिससे उनको पुनः उपचार पर लाया जा सके। इससे गांवों को क्षयमुक्त बनाने में सहयोग मिलेगा।
एनटीईपी के जिला कार्यक्रम समन्वयक (डीपीसी) सलिल कुमार यादव ने बताया कि अभियान की तैयारियां करते हुए समस्त सेंटर को विस्तृत दिशा-निर्देश दिया जा चुके हैं। ब्लाक के सभी एनटीईपी कर्मियों की उन्मुखीकरण बैठक हो चुकी है। जल्द ही सभी सीएचओ का उन्मुखीकरण किया जाएगा। इससे पूर्व उच्च प्राथमिकता वाले वाले टीबी संभावित क्षेत्रों का चयन एवं माइक्रोप्लानिंग का कार्य अंतिम चरण में है। अभियान के लिए हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर स्तर पर जन आरोग्य समिति की बैठक, ग्राम सभा स्तर पर वीएचएसएनसी की बैठक में पूर्व में चयनित टीबी चैम्पियन का भी सहयोग लिया जाएगा।
डीपीसी ने बताया कि इस समय जनपद में कुल 4,107 टीबी मरीज उपचार पर हैं जिसमें सबसे ज्यादा टीबी मरीजों की संख्या 766 जिला क्षय नियंत्रण इकाई (डीटीसी) के अंतर्गत है। जनपद में सबसे कम टीबी मरीजों की संख्या 67 मुंगराबादशाहपुर में है। इस वर्ष मार्च में चले एक्टिव केस फाइंडिंग (एसीएफ) अभियान के दौरान भी जनपद में कुल 132 टीबी के नए मरीज खोजे गए जिंका उपचार चल रहा है। उन्होने बताया कि टीबी के सम्पूर्ण उन्मूलन के प्रति प्रतिबद्धता के चलते माह की प्रत्येक 15 तारीख को हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर निक्षय दिवस का आयोजन हो रहा है। 21 दिवसीय विशेष अभियान का शुभारंभ भी निक्षय दिवस के दिन ही प्रारंभ किया जा रहा है। टीबी संबंधी सेवाओं के सुदृढ़ीकरण के लिए एनटीईपी कार्यक्रम का समस्त स्टाफ जनपद के हेल्थ वेलनेस केंद्र के सम्पर्क में रहते हुए अभियान की सफलता का पूरा प्रयास कर रहा है।
राज्य स्तर के निर्देश समय से पूरा करें: डीपीसी ने बताया कि जिला क्षय नियंत्रण इकाई पर सोमवार को बैठक हुई जिसमें टीबी सेवाओं के सुदृढ़ीकरण के लिए राज्य स्तर से जारी निर्देश को ससमय पूरा करने के लिए कहा गया।

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